भारतीय महिला हॉकी टीम ने टोक्यो ओलंपिक में इतिहास रच दिया है। दुनिया की नौवें नंबर की टीम भारत ने क्वार्टर फाइनल में दुनिया की दूसरे नंबर की टीम ऑस्ट्रेलिया को 1-0 से हराकर ओलंपिक खेलों में पहली बार सेमीफाइनल में प्रवेश कर लिया। भारतीय टीम की ओर से गुरजीत कौर ने 22वें मिनट में एकमात्र गोल किया। खेलों के महाकुंभ कहे जाने वाले टोक्यो ओलंपिक में भारत के लिए पदकों की संख्या में और इजाफा होने की संभावनाएं बढ़ गई हैं।
भारत के राष्ट्रीय खेल हॉकी की दोनों टीमों यानी पुरुष और महिला दोनों ने बेहतरीन प्रदर्शन कर सेमीफाइनल में जगह बना ली है। पुरुष टीम 49 साल बाद सेमीफाइनल में पहुंची है, तो महिला हॉकी टीम भी शुरुआती मैचों में हार के बाद बेहतरीन कमबैक करते हुए सेमीफाइनल में पहुंच गई है। दोनों टीमों के बेहतरीन प्रदर्शन ने लंबे समय बाद हॉकी में पदक की उम्मीद जगाई है। हॉकी टीमों को बेहतरीन प्रदर्शन के लिए देशभर से बधाइयां तो मिल रही हैं।
आज दो अगस्त को टोक्यो ओलंपिक के 11वें दिन धाविका दुती चंद ने निराश किया। वह महिलाओं की 200 मीटर रेस में सेमीफाइनल के लिए क्वालीफाई नहीं कर सकी। निशानेबाजी में ऐश्वर्य प्रताप ने मेडल जीतने की उम्मीद कायम रखी है। वहीं हॉकी में भारतीय महिला टीम क्वार्टर फाइनल में ऑस्ट्रेलिया को 1 – 0 से मात देकर इतिहास रचा है। आज 11वें दिन जिन भारतीय एथलीटों पर नजरें रहेंगी उनमें डिस्कस थ्रोअर कमलप्रीत कौर से पदक की उम्मीद होगी वह फाइनल के लिए क्वालीफाई कर चुकी हैं। घुड़सवारी में फवाद मिर्जा एक्शन में होंगे। कल बीते 10वां दिन भारत के नजरिए से शानदार रहा। शटलर पीवी सिंधु ने कांस्य पदक जीतकर देश का नाम रोशन किया। जबकि चार दशक बाद भारतीय पुरुष हॉकी टीम ओलंपिक के सेमीफाइनल में जगह बनाने में सफल रही।

टोक्यो ओलंपिक 2020 के क्वार्टर फाइनल में ऑस्ट्रेलिया को दी मात
आज यानी दो अगस्त को भारतीय महिला हॉकी टीम ने टोक्यो में जारी ओलंपिक खेलों में इतिहास रच दिया है। पहली बार भारतीय टीम ओलंपिक खेलों के सेमीफाइनल तक पहुंची है। आखिरी बार ओलंपिक में भारतीय महिला हॉकी टीम ने वर्ष 1980 में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया था। हालांकि उस समय भारतीय टीम चौथे नंबर पर रही थी, लेकिन इस बार रानी रामपाल की कप्तानी वाली टीम ने पदक की उम्मीद जगाई है।
भारतीय महिला टीम ने विश्व की नंबर दो टीम ऑस्ट्रेलिया को टोक्यो ओलंपिक 2020 के क्वार्टर फाइनल में मात दी है। भारतीय महिला हॉकी टीम ने ये मैच 1-0 के अंतर से जीता है। भारत की तरफ से एकमात्र और ऐतिहासिक गोल गुरलीन कौर ने दूसरे क्वार्टर में किया। गुरजीत कौर ने पहला गोल पेनाल्टी कार्नर से किया, जो भारतीय टीम के लिए ब्रह्मास्त्र साबित हुआ और भारत ने सेमीफाइनल में प्रवेश कर लिया। सेमीफाइनल में जीतते ही भारत का एक और पदक पक्का हो जाएगा।
भारतीय महिला हॉकी टीम ने मौजूदा समय में विश्व की नंबर दो हॉकी टीम ऑस्ट्रेलिया को मात दी। आखिरी के कुछ मिनटों में ऐसा लग रहा था कि कंगारू टीम बराबरी कर सकती है, लेकिन भारतीय टीम ने अपना शानदार खेल दिखाया है स्कोर 1-0 से आगे ही रखा। इसी का नतीजा रहा कि भारत ने दूसरे क्वार्टर में बनाई 1-0 बढ़त चौथे क्वार्टर तक जारी रखी और सेमीफाइनल में प्रवेश किया।
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पुरुष टीम की बात करें तो भारतीय टीम के ‘दीवार’ के नाम से मशहूर गोलकीपर पीआर श्रीजेश के शानदार खेल से भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने ग्रेट ब्रिटेन को 3 -1 से शिकस्त देकर टोक्यो ओलिंपिक खेलों के सेमीफाइनल में जगह बनाई है। साथ ही 41 साल में पहला पदक जीतने की तरफ मजबूत कदम बढ़ाए हैं। भारत ने ओलिंपिक में आखिरी पदक मॉस्को ओलिंपिक 1980 में स्वर्ण पदक के रूप में जीता था, लेकिन तब केवल छह टीमों ने भाग लिया था और राउंड रोबिन आधार पर शीर्ष पर रहने वाली दो टीमों के बीच स्वर्ण पदक का मुकाबला हुआ था। इस तरह से भारत ने 1972 में म्यूनिख ओलंपिक के बाद पहली बार सेमीफाइनल में पहुंची है।
भारत अब 3 अगस्त को होने वाले सेमीफाइनल में मौजूदा विश्व चैंपियन बेल्जियम से भिड़ेगी। यह मुकाबला सुबह साढ़े सात बजे से शुरू होगा। भारत का यह मैच काफी कड़ा रहेगा, बेल्जियम हालिया समय में सबसे ताकतवर हॉकी टीमों में से एक है। उसे हराने के लिए भारत को पूरा जोर लगाना होगा साथ ही कम से कम गलतियां करनी होंगी। अगर भारतीय टीम सेमीफाइनल में जीत जाती है तो भारत का फाइनल में मुकाबला ऑस्ट्रेलिया या जर्मनी से होगा। फाइनल 5 अगस्त को खेला जाएगा।