अमेरिका में रह रहे सऊदी के पत्रकार जमाल खागोशी की हत्या के मामले में पांच दोषियों को मौत की सजा सुनाई गई थी, वहीं तीन अन्य दोषियों को 24 साल जेल की सजा दी गई है। क्राउन प्रिंस के कठोर आलोचक रहे खशोगी की हत्या तुर्की में सऊदी के वाणिज्य दूतावास में कर दी गई थी। इस हत्या के बाद दुनियाभर में सऊदी के खिलाफ प्रदर्शन हुए थे। खशोगी वॉशिंगटन पोस्ट अखबार के लिए एक स्तंभ लिखते थे और गायब होने से पहले अमेरिका में रहते थे। उन्हें अंतिम बार 2 अक्टूबर 2018 को इस्तांबुल में सऊदी वाणिज्य दूतावास में प्रवेश करते देखा गया था, जहां वह तुर्की की अपनी मंगेतर से शादी करने के लिए कुछ कागजात लेने गए थे। अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार समूह ने सऊदी पत्रकार जमाल खागोशी हत्या के लिए न्याय की मांग की थी। अब एक बार फिर यह मुद्दा गर्माने लगा है। हाल ही में खागोशी हत्या कांड से संबंधित रिपोर्ट अमेरिका की खुफिया एजेंसी ने जारी की है। जिसमें सीधे-सीधे खागोशी की मौत के पीछे सऊदी क्राउन प्रिंस का हाथ बताया जा रहा है। अब अमेरिका इसी को लेकर सऊदी अरब पर कार्रवाई करने का मन बना रहा है।
कहा जा रहा है कि खागोशी की मौत को लेकर अमेरिका और सऊदी अरब में भंयकर बवाल हो सकता है। रिपोर्ट में कहा गया है कि सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के कहने पर ही खागोशी की हत्या तुर्की के इस्तानबुल में की गई थी। इसी विवाद पर अब अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन सऊदी प्रिंस से फोन पर बात करेंगे। हालांकि अभी तक पूरी रिपोर्ट को सार्वजनिक नहीं किया गया है। पंरतु कहा जा रहा है कि अमेरिकी खुफिया एजेंसी इस रिपोर्ट को अगले सप्ताह सार्वजनिक कर सकती है। अगर यह रिपोर्ट सार्वजनिक होती है तो मोहम्मद बिन सलमान की मुश्किलें बढ़ सकती है। पत्रकार जमाल खशोगी के मर्डर केस को लेकर अगर जो बाइडेन सऊदी किंग को फोन करते हैं तो दोनों नेताओं के बीच ये पहली बातचीत होगी लेकिन चूंकी सऊदी किंग के बेटे पर ही हत्या कराने का आरोप है लिहाजा दोनों नेताओं के बीच तीखी बातचीत होने की भी संभावना बन रही है।
इससे पहले 19 जनवरी को सीनेट की सुनवाई के दौरान, सीनेटर रॉन विडेन ने एविल हैन्स से कहा कि उन्हें प्रशासन में जितने भी अहम भी गैरकानूनी कार्य हो रहे है उनमें बड़े फेरबदल की आवश्यकता है। फिर उसने पूछा कि क्या वह पुष्टि कर रही है कि क्या वह रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी। हैन्स ने जवाब दिया कि हाँ, सीनेटर। बिल्कुल, मैं कानून का पालन करूंगा। कांग्रेस ने दिंसबर 2019 में एक विधेयक पारित किया था, जिसमें नेशनल इंटेलिजेंस को 30 दिनों के भीतर जमाल खशोगी की मौत से जुड़े तथ्यों को पेश करने के प्रावधान शामिल थे। अमेरिकी मीडिया आउटलेट्स ने नवंबर 2018 में बताया कि सीआईए ने निष्कर्ष निकाला है कि सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने हत्या का आदेश दिया था।