कोरोना वायरस की तरह मंकीपॉक्स भी अपने लक्षण बदल रहा है। प्रतिष्ठित शोध पत्रिका लैंसेट की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, यूके में मंकी पॉक्स के रोगियों को निजी अंगों के व्यापक घाव पाए गए हैं। जो दुनिया भर में पूर्व में पाए जाने वाले मंकीपॉक्स के लक्षणों से बिलकुल अलग है।
द लैंसेट इंफेक्शियस डिजीज जर्नल में प्रकाशित एक शोध रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई। शोधकर्ताओं ने लंदन के विभिन्न यौन स्वास्थ्य क्लीनिकों में पहुंचे 54 रोगियों के आधार पर रिपोर्ट तैयार की। इन मरीजों का इस साल मई में 12 दिनों के दौरान मंकीपॉक्स का इलाज किया गया था।
जननांगों के आसपास घाव
निष्कर्ष बताते हैं कि रोगियों में जननांगों और गुदा के आसपास की त्वचा पर घाव पाए गए। इन रोगियों में पिछले शोध में मंकीपॉक्स के रोगियों की तुलना में थकान और बुखार जैसे लक्षण कम थे। शोधकर्ताओं ने लंदन के चार यौन स्वास्थ्य क्लीनिकों में मंकीपॉक्स के रोगियों का डेटा एकत्र किया। उन्होंने मरीज के यात्रा रिकॉर्ड, यौन जानकारी, लक्षण और इलाज के आंकड़ों का अध्ययन करने के बाद रिपोर्ट तैयार की है।
उपरोक्त निष्कर्षों के आधार पर शोधकर्ताओं ने सिफारिश की कि मंकीपॉक्स के रोगियों की पहचान करने के लिए रोग के संभावित लक्षणों की समीक्षा की जानी चाहिए। वे यह भी अनुमान लगाते हैं कि मंकीपॉक्स के रोगियों में जननांगों की त्वचा पर घावों के बढ़ने से यौन संचारित संक्रमणों की संख्या में वृद्धि हो सकती है। इसका मतलब है कि भविष्य में यौन स्वास्थ्य केंद्रों या यौन स्वास्थ्य क्लीनिकों में मंकीपॉक्स के अधिक मामले सामने आ सकते हैं। शोधकर्ताओं ने सिफारिश की कि इस स्थिति को कम करने के लिए अतिरिक्त संसाधन उपलब्ध कराए जाएं।