साल 2019 में चीन के वुहान से शुरू हुआ कोरोना वायरस पूरी दुनिया में फैल गया। पिछले दो साल में दुनियाभर में कोरोना संक्रमण की तीन घातक लहरें आई हैं। अब तक 60.3 लाख से ज्यादा लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। इस बीच चीन में कोरोना मरीजों की संख्या में अचानक वृद्धि से दुनिया में कोरोना संक्रमण की चौथी लहर का खतरा मंडरा रहा है।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य आयोग के मुताबिक 2021 के मुकाबले इस साल अब तक सबसे ज्यादा मामले सामने आए हैं। वहीं विश्व स्वास्थ्य संगठन ने दुनिया को तीसरे कोरोना संक्रमण की चौथी लहर के खतरे से आगाह किया है।
डब्ल्यूएचओ के अनुसार, कोरोना के दो वेरिएंट, ओमीक्रान और डेल्टा के कॉम्बिनेशन से दुनिया में प्रवेश करने वाला एक नया वेरिएंट हो सकता है, और वही वेरिएंट दुनिया को कोरोना प्रसार की चौथी लहर का सामना करने का कारण बन सकता है।
चीन में एक दिन में 1337 नए मामले दर्ज किए गए। रॉयटर्स के मुताबिक पिछले साल चीन में कुल 8,378 मामले सामने आए थे। 2022 के पहले तीन महीनों में अब तक 9,000 से ज्यादा मरीज कोरोना पॉजिटिव चुके हैं। खबरों के मुताबिक ये मरीज बीजिंग, शंघाई, शानडोंग और कुछ अन्य राज्यों से आए हैं।
चीन में इस समय 30 मिलियन से अधिक लोग लॉकडाउन में हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि इससे देश का बढ़ता संकट एक बार फिर चीनी अर्थव्यवस्था को प्रभावित कर सकता है।
शेन्ज़ेन दो प्रमुख चीनी कंपनियों, हुआवेई और टेनसेंट का घर है। शहर हांगकांग की सीमा में है। गौरतलब है कि पिछले कुछ दिनों से हांगकांग में कोरोना के चलते हालात बिगड़ते जा रहे हैं। हांगकांग के अधिकारियों के मुताबिक शहर में 27,647 करोड़ संक्रमित मरीज मिले। शहर में 87 और मौतों के बाद मरने वालों की संख्या बढ़कर 3,729 हो गई।
इस बीच कई प्रमुख चीनी शहरों में लॉक डाउन और अन्य कड़े प्रतिबंध लगाए गए हैं। शंघाई में स्कूल पार्क बंद बीजिंग ने रिहायशी इलाकों तक पहुंच पर भी प्रतिबंध लगा दिया है। नागरिकों को सलाह दी गई है कि यदि आवश्यक हो तो ही घर और शहर से बाहर निकलें।