मंत्रियों और रसूखदारों का अतिक्रमण हटाने से पहले ही प्रशासन की सांसें फूलने लगी। लिहाजा हाईकोर्ट के आदेश पर अमल करने के लिए आम लोगों के अतिक्रमण हटाकर कर्तव्य की इतिश्री की जा रही है
धर्मनगरी में पिछले बीस दिनों से चल रहे अतिक्रमण अभियान पर सवालिया निशान उठने लगे है? अमीर- गरीब एवं रसूखदारों के बीच घूम रहे अतिक्रमण अभियान को लेकर धर्मनगरी का व्यापारी वर्ग भी दो फाड़ होता नजर आ रहा है। पहली अक्टूबर को टुकड़ों में बंटे धर्मनगरी के व्यापार मण्डलों में पड़ी फूट साफ नजर आई। व्यापार मंडल के दो गुटों द्वारा आहूत बाजार बंद के आह्वान को अधिकतर व्यापारियों ने अतिक्रमण अभियान में व्याप्त भाई-भतीजावाद के चलते नकार दिया। यहीं नहीं, अतिक्रमण न होते हुए भी अतिक्रमण हटाओ दस्ते की मनमानी का शिकार होकर अपनी दुकान और मकान खो चुका आम नागरिक पूरे अभियान के दौरान हरिद्वार लोकसभा सीट से सांसद डॉ रमेश पोखरियाल ‘निशंक’, शहरी विकास मंत्रा मदन कौशिक सहित रानीपुर विधायक आदेश चौहान की चुप्पी को लेकर काफी गुस्से में है। इन तीनों नेताओं ने पूरे अभियान क दौरान जनता से दूरी बनाए रखी है।
गौरतलब है कि उच्च न्यायालय नैनीताल के आदेश पर शहर को अतिक्रमणमुक्त कराने में लगी प्रशासन व नगर निगम की अतिक्रमण हटाओ टीम ने कनखल एवं कøष्णानगर से अतिक्रमण हटाने की जोरदार शुरुआत की थी। जिसके चलते कøष्णानगर का बाजार तो पूरा ही हटा दिया गया। वहीं दूसरी ओर देशरक्षक औषधालय द्वारा किए गए 6 फुट से अधिक के अतिक्रमण में से मात्र दो फुट ही हटाया गया। यही नहीं कøष्णानगर में स्थित एक रसूखदार के अतिक्रमण पर प्रशासनिक मेहरबानिया साफ नजर आई। हाईकोर्ट के आदेश का बहाना लेकर अतिक्रमण के नाम पर कøष्णानगर में तांडव करने वाली अतिक्रमण हटाओ टीम ने सिंहद्वार चौक पर स्थित स्वामी श्रद्धानंद अस्पताल के बाहर स्थित दुकानों को इस बिना पर ढहा दिया कि उक्त दुकाने नेशनल हाईवे के लिए अधिकøत भूमि पर बनी हुई हैं जिनका चौड़ीकरण के लिए हटाया जाना जरूरी है। कøष्णानगर में चले अतिक्रमण अभियान के दौरान मौन धारण करने वाले धर्मनगरी के दर्जनों व्यापार मंडलों से जुड़े व्यापारी नेता कøष्णानगर को बर्बाद होते देखते रहे। मात्र व्यापार मंडल हरिद्वार के जिलाध्यक्ष ओमप्रकाश जमदिग्नी ऐसे व्यापारी नेता थे जिन्होंने कøष्णानगर में पहुंचकर अतिक्रमण हटाओ अभियान टीम का पुरजोर विरोध किया। कøष्णानगर से अतिक्रमण हटाने के पश्चात टीम ने उपनगरी ज्वालापुर की ओर रुख किया। जहां ज्वालापुर पुल जटवाड़ा से शुरू हुए अतिक्रमण हटाओ अभियान के दौरान यह टीम ठिठकी नजर आए। कøष्णानगर कनखल में तथा सती कुंड के आसपास जोर-शोर से अतिक्रमण हटाने को लेकर सुर्खियां बटोर रहे प्रभारी एमएनए ललित नारायण मिश्रा सहित सिटी मजिस्ट्रेट मनीष कुमार सिंह ज्वालापुर में शुरू हुए अतिक्रमण हटाओ अभियान के दौरान सुस्त नजर आए। ज्वालापुर के कस्साबान, हज्जाबान, अंसारियान में हुए अतिक्रमण को अतिक्रमणकारियों द्वारा स्वयं ही पिछले दो दिनों से अपने अतिक्रमण को हटाया जा रहा था। बावजूद इसके कुछ स्थानों पर रसूखदार व्यक्तियों ने अपने अतिक्रमण को बचाने के लिए एडी चोटी का जोर लगा दिया। जिसका नतीजा यह हुआ कि अतिक्रमण की जद में आने वाले गरीब लोगों के आशियाने एवं व्यापारिक प्रतिष्ठान अतिक्रमण हटाओ अभियान टीम की भेंट चढ़ गए तो क्षेत्र के रसूखदार लोग अपने लाल निशान होने के बावजूद अपना अतिक्रमण बचाने में कामयाब रहे। जिसके चलते आम लोगों में मायूसी नजर आ रही है। यही नहीं शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक के खासमखास माने जाने वाले एक भाजपा कार्यकर्ता ने कस्साबान ज्वालापुर की पुलिया पर अतिक्रमण हटाओ दस्ते द्वारा ढ़हाई गई दुकानों को पुनः बना लिया।

नगर निगम के स्वामित्व वाली दुकानों के किरायेदारों द्वारा किए गये अतिक्रमण पर सख्ती दिखाने वाला प्रशासन चौहानान की और बढ़ते ही छिटपुट विरोध का शिकार हो गया। जिसके चलते अतिक्रमण हटाने की टीम में शामिल अधिकारियों के कदम ठिठक गए। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार चौहानान गली के सामने स्थित एक बड़े अतिक्रमण को हटाये जाने के लेकर एक विधायक का फोन आते ही अतिक्रमण को तोड़ने में लगी जेसीबी वहां से बिना अतिक्रमण तोड़े ही हटा दी गई। इसके पश्चात अंसारियान में नगर निगम की जमीन पर कब्जा कर बनाई गई फोटो स्टेट की पक्की दुकान को ध्वस्त कर दिया गया। जब टीम कस्साबान की ओर बढ़ी तो हजारों की तादाद में मौहल्लेवासी सड़कों पर आ डटे। भीड़ बढ़ती देख अतिक्रमण अभियान में शामिल अधिकारियों ने छुटपुट अतिक्रमण हटाकर कस्साबान से निकल जाने में ही अपनी भलाई समझी। श्याम नगर कॉलोनी की पुलिया के सार्वजनिक रास्ते पर कब्जा कर बनाई गई दो अवैध दुकानों को अतिक्रमण हटाने वाली टीम ने नजर अंदाज कर श्याम नगर कॉलोनी के ही दूसरी ओर बनी दुकानों को तोड़ दिया गया। अतिक्रमण हटाए जाने के दौरान किसी भी प्रकार का विवाद न उत्पन्न हो इसको लेकर पूर्व विधायक अंबरीश कुमार ने नगरवासियों के समक्ष प्रशासन द्वारा किए जा रहे अभियान का जनता के बीच पहुंचकर जायजा लिया। इस अवसर पर पूर्व विधायक अंबरीष कुमार ने कहा कि अतिक्रमण तो हटाया जा रहा है। लेकिन किसी के साथ भी भेदभावपूर्ण नीति न अपनाई जाए। वैध एवं अवैध अतिक्रमण को पूर्व निरीक्षण कर ही हटाया जाए। व्यापारियों का किसी भी प्रकार का नुकसान न हो। लेकिन पूर्व विधायक अम्बरीष कुमार द्वारा दिए गये सुझाव को अधिकारियों ने दरकिनार कर दिया। जिसके चलते कई बार पुलिस को हलका- फुलका बल का प्रयोग करना पड़ा। उन्होंने शासन प्रशासन को भी अतिक्रमण हटाने के दौरान व्यापारियों की समस्याओं का ध्यान रखने की अपील की। हाईकोर्ट के कथित आदेशों का हवाला देकर शहर को अतिक्रमण मुक्त कराने में लगी नगर निगम, पीडब्ल्यूडी की टीम रसूखदारों के सामने पानी भरती नजर आई। जहां आम लोगों द्वारा किए गए अतिक्रमण को जबरदस्त कार्यवाही करते हुए हटाया गया तो वहीं, दूसरी ओर भाजपा विधायक स्वामी यतीश्वरानंद के आश्रम पर लगाए गए लाल निशान को बाद में पुनः जांच का हवाला देकर नहीं हटाया गया। यही हाल शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक के गृह नगर खन्ना नगर कालोनी के बाहर नजर आया। खन्ना नगर के बाहर पीसी ज्वैलर्स सहित दर्जनों दुकानों पर लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों ने अतिक्रमण मानते हुए लाल निशान लगाये थे। परंतु शहारी विकास मंत्री और भाजपा विधायक द्वारा किए गये पुरजोर विरोध के बाद लाल निशान लगाने के मानक बदल दिए गए। जिसके चलते मंत्री का मौहल्ला व स्वामी यतीश्वरानंद का आश्रम अवैध अतिक्रमण की जद से बाहर हो गया। यही नहीं अतिक्रमण हटाओ अभियान दस्ते में शामिल अधिकारियों पर पर्यटन मंत्रा सतपाल महाराज के प्रेम नगर आश्रम सहित, मोहन पुरी वाला होटल तथा भाजपा नेता अनिल अरोडा द्वारा किए गये अवैध अतिक्रमण को हटाने के बजाए उनको समय देना भी अतिक्रमण हटाओ दस्ते की कार्यवाही पर सवालिया निशान लगा रहा है।
सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अतिक्रमण हटाओ दस्ते में शामिल जिन अधिकारियों द्वारा अभियान के पहले दिन फ्रंटफुट पर आकर कार्यवाही की जा रही थी। विधायक का आश्रम व मंत्री का मौहल्ला आते ही वह कार्यवाही धीमी पड़ने का कारण शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक द्वारा भेल के त्रिशूल गेस्ट हाउस में अधिकारियों को खरी खोटी सुनाना माना जा रहा है। जिसके चलते अतिक्रमण हटाओ दस्ते का अभियान दम तोड़ता नजर आ रहा है। अब अतिक्रमण हटाओ टीम द्वारा अवैध अतिक्रमण न तोड़कर समय दिये जाने की औपचारिकता निभाई जा रही है। अतिक्रमण हटाओ अभियान ऋषिकुल देवपुरा पहुंचने के साथ ही व्यापार मण्डल की राजनीति भी शुरू हो गई है। जिसके चलते व्यापारी बाजार बंद करने की धमकी तक दे रहे हैं। व्यापार मंडल से जुड़े संगठनों में आपस में भले ही फूट पड़ती नजर आ रही हो परंतु रोडवेज से हरकी पैड़ी तक रसूखदार व्यापारी एवं नेताओं द्वारा जबरदस्त अवैध अतिक्रमण किया हुआ है। जिसका हटाया जाना फिलहाल नजर नहीं आ रहा है। कहना अतिश्योक्ति नहीं होगी कि आम लोगों के प्रतिष्ठानों और घरों पर हाईकोर्ट के आदेश रसूखदारों के सामने रद्दी का कागज बनकर रह गए हैं।
मंत्री खेमे में फूट
शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक से जुड़े व्यापारियों का अतिक्रमण ध्वस्त होने से मदन खेमे में फूट पड़ती नजर आ रही है। कनखल में चलाए गए अतिक्रमण अभियान के दौरान पूरे परिदृश्य से गायब रहे शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक और उनके चेले खन्ना नगर और अपर रोड पर किए गये अतिक्रमण पर लाल निशान लगते ही सक्रिय हो गये। कृष्णा नगर के व्यापारियों को तबाह होता देख चुप्पी साधने वाले व्यापार मंडल के वरिष्ठ नेता कैलाश केसवानी, सुरेश गुलाटी अपना और अपने समर्थकों के अतिक्रमण पर लाल निशान लगते ही डीएम के दरबार में जा पहुंचे। यही नहीं बताया जाता है कि खास स्थान से अतिक्रमण हटाने के दौरान अपने कुछ साथियों को होने वाले छुटपुट नुकसान को देखते हुए शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक डीएम हरिद्वार दीपक रावत, एसएसपी कृष्ण कुमार वीके सहित मंत्री के खास सिपाहसालार राकेश बजरंगी, अनिरुद्ध भाटी, कैलाश केसवानी, सुरेश गुलाटी ने भेल के एक गेस्ट हाउस में मंत्रणा कर अतिक्रमण हटाओ अभियान को अपनी सहमति दी थी। जिसके संबंध में मंत्री के चेलों ने रामलीला भवन भीमगोड़ा में अपने समर्थक व्यापारियों की बैठक बुलाकर नालों पर किए गए अतिक्रमण को स्वयं ही ध्वस्त करने की बात कही थी। जिसको लेकर मंत्री के चेले आपस में ही भिड़ गये। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार अपर रोड़ स्थित एक होटल में मंत्री समर्थक बजरंगी एवं दूसरे मंत्री समर्थक मिश्रा के बीच हाथापाई तक हुई है। जिसको लेकर चर्चाओं का बाजार गर्म है। अतिक्रमण हटाए जाने के दौरान असहज महसूस कर रहे मंत्री के चेले झल्लाहट में एक दूसरे पर ही आरोप प्रत्यारोप लगा रहे हैं।
बात अपनी-अपनी
सरकार अतिक्रमण के नाम पर लोगों को बर्बाद करने पर तुली हुई है। यही नहीं अतिक्रमण हटाने में मनमाना रवैया अपनाया जा रहा है। न्याय पालिका के आदेश का हवाला देकर गरीब लोगों का उजाड़ा जा रहा है। जिसका विरोध किया जाएगा।
हरीश रावत, पूर्व मुख्यमंत्री एवं राष्ट्रीय महासचिव कांग्रेस
अतिक्रमण हटाने में कोई कोताही नहीं बरती जा रही है मानवीय दृष्टिकोण से कुछ स्थानों पर अतिक्रमण नहीं हटाया गया है। परंतु ऐसे अतिक्रमणकारियों को निर्देशित किया गया है कि वह अपना अतिक्रमण खुद हटा ले। यही नहीं, जहां तक अतिक्रमण तोड़ने के बाद पुनः अतिक्रमण करने की शिकायतों का सवाल है तो ऐसे मामलों की जानकारी सामने आने के बाद पुनः तोड़ा जाएगा।
मनीष सिंह, सिटी मजिस्ट्रेट हरिद्वार
हाईकोर्ट का हवाला देकर किए जा रहे व्यापारियों के उत्पीड़न पर चुप नहीं बैठा जाएगा। जिसके चलते व्यापारियों के सभी संगठन एक जुट है और प्रशासन की मनमानी कार्यवाही का जबरदस्त विरोध किया जाएगा। जिसके लिए हरिद्वार के सांसद माननीय रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ के संज्ञान में भी यह मामला लाया गया है।
ओम प्रकाश जम्दग्नि, जिलाध्यक्ष व्यापार मंडल हरिद्वार