पिथौरागढ़ जनपद में पिछले दिनों स्पर्श मेलों की धूम मची रही। इन मेलों में रंगारंग कार्यक्रमों के इतर मोबाइल सीएसडी, डॉक्टरों की टीम एवं सेना के जवान आकर्षण के केंद्र थे। मेलार्थियों के रूप में 500 से अधिक पूर्व सैनिक, उनके आश्रित एवं वीरांगनाएं उपस्थित रहीं। जहां उनकी दर्जनों समस्याओं का मौके पर ही निदान किया गया। जनपद के मुनस्यारी, बेरीनाग में अलग-अलग तरीखों में इन स्पर्श मेलों का आयोजन किया गया। सेना के उत्तर भारत के बेटेरन ब्रांच बरेली द्वारा आयोजित इन मेलों में पेंशन संबंधी समस्याओं का मौके पर निदान किया गया तो वहीं उनके बैंक संबंधी डिटेल्स को भी अपडेट किया गया।
यहां पर मोबाइल सीएसडी के द्वारा पूर्व सैनिकों व वीरांगनाओं को सीएसडी की सुविधा भी उपलब्ध कराई गई। इन मेलों के आयोजन में वेटेरन ब्रांच, बरेली के कर्नल विनोद कुमार एवं जिला सैनिक कल्याण अधिकारी कर्नल चंद्र बहादुर पुन की टीमें पूरे मनोयोग से जुटी रही। मुनस्यारी में आयोजित स्पर्श मेले में 137 पूर्व सैनिकों व 31 विधवा माताओं ने भाग लिया। वहीं बेरीनाग में आयोजित मेले में 266 से अधिक की संख्या में पूर्व सैनिक उपस्थित थे। यहां 105 मामले पेंशन प्रकरण के, 35 मामले स्पर्श संबंधी कार्य, 10 भाग दो आदेश, 09 पहचान पत्र, 06 रिलेशन प्रमाण पत्र, 08 पारिवारिक विवरण, 12 कैंटीन प्रमाण पत्र के साथ ही कई अन्य समस्याओं का निदान किया गया।
इन शिविरों में स्वास्थ्य कैंप भी लगाए गए। इसमें उपस्थित प्रतिभागियों की सेना के डॉक्टरों द्वारा स्वास्थ्य जांच की गई। उन्हें निःशुल्क दवा भी उपलब्ध कराई गई। साथ ही चिकित्सकों ने पूर्व सैनिकों को स्वस्थ रहने के तौर-तरीकों से भी अवगत कराया। इस मेले में सीएसडी मोबाइल भी मौजूद थी। जिसमें उपस्थित प्रतिभागियों को सीएसडी कैंटीन का लाभ भी प्रदान किया गया। सुदूरवर्ती क्षेत्रों में इस तरह के मेलों के आयोजन से पूर्व सैनिकों ने हर्ष जताया वह इस तरह के कार्यक्रम समय-समय पर कराने की मांग भी की।
हमारा उद्देश्य है कि देश की सेवा करने वाले पूर्व सैनिकों व उनकी वीरांगनाओं को उनके ही क्षेत्र में सुविधा प्राप्त हो। देखने में आया है कि अभिलेखों में गड़बड़ी व बैंक दस्तावेजों के सही नहीं होने से पूर्व सैनिकों को कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है। मेले के माध्यम से पूर्व सैनिकों के अभिलेखों का मौके पर निस्तारण किया गया। वहीं सेना के डॉक्टरों ने मौके पर पूर्व सैनिकों के स्वास्थ्य का परीक्षण किया। निःशुल्क दवायें उपलब्ध कराई। दूरस्थ क्षेत्रों के पूर्व सैनिकों को मोबाइल सीएसडी के जरिए कैंटीन सुविधा भी उपलब्ध कराई गई।
चंद्र बहादुर पुन, जिला समाज कल्याण अधिकारी