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फीफा वर्ल्डकप २०१८ की शुरुआत १४ जून से रूस में होने जा रही है। यह इस फुटबॉल के महाकुंभ का २१वां संस्करण है। १५ जुलाई तक चलने वाले इस टूर्नामेंट पर पूरी दुनिया की नजरें होंगी। अभी से फुटबॉल प्रेमी अटकलें लगा रहे हैं। अंतिम चार में कौन टीम पहुंचेगी इसे लेकर सट्टा बाजार में हलचल है। चार सालों में एक बार ३२ टीमों के बीच होने वाले कुल ६४ मैचों का इंतजार फुटबॉल प्रेमियों को बेसब्री से रहता है। हाल ही में रियल मैड्रिड ने कीव में खेले गए यूएफा चैंपियंस लीग के फाइनल में लिवरपूल को ३-१ से हराकर लगातार तीसरी बार खिताब पर कब्जा किया, जिसके बाद अब सबकी निगाहें वर्ल्डकप पर हैं। वर्ल्डकप वार्म अप फ्रेंडली मुकाबलों की शुरुआत हो चुकी है। इन मैचों को भी इंटर नेशनल मुकाबले का दर्जा हासिल है। वर्ल्डकप भले ही रूस में है, लेकिन, ये वार्म अप मैच अलग-अलग देशों में खेले जाएंगे। टीमें दो से चार फ्रेंडली वार्म अप मैच खेलेंगी। इन फ्रेंडली मैचों का मकसद खिलाड़ियों के बीच तालमेल कायम करना होता है। ये खिलाड़ी साल में लगभग ९ से १० महीने अलग-अलग क्लबों से खेलते हैं। क्लबों के प्रदर्शन के आधार पर ही कोच टीम के खिलाड़ियों का चयन करता है। वर्ल्डकप से पहले सभी ३२ टीमें प्रैक्टिस कैंप आयोजित करती हैं। यह कैंप अपने देश में या बाहर भी आयोजित हो सकता है। आमतौर पर ऐसे ही कैंप के दौरान टीम की फाइनल रणनीति तय होती है। १९३० से फीफा वर्ल्डकप की शुरुआत हुई थी। हर ४ सालों पर होने वाले इस फुटबॉल के महासंग्राम में अब तक सबसे ज्यादा पांच बार चैंपियन का ताज ब्राजील के सिर बंधा है। मौजूदा चैंपियन जर्मनी ने चार बार इस खिताब को अपने नाम किया है। फीफा वर्ल्डकप २०१८ का उद्द्घाटन मैच मेजबान रूस और सऊदी अरब के बीच १४ जून २०१८ को भारतीय समयानुसार रात ८ः३० बजे से खेला जाएगा। फाइनल मुकाबला राजधानी मॉस्को के लुजनिकी स्टेडियम में खेला जाएगा। प्रत्येक चार साल में होने वाले विश्व कप में मेजबान रूस सहित ३२ टीमें भाग ले रही हैं। जिन्हें चार-चार के आठ ग्रुप में बांटा गया। अमेरिका की टीम ३२ साल में पहली बार फीफा विश्वकप में खेलती नजर नहीं आएगी, क्योंकि वह इसके लिए क्वालीफाई करने में नाकाम रही है। फीफा विश्व कप २०१८ के मुश्किल ग्रुपों में शुमार है बी ग्रुप। इसमें यूरोपीय चैंपियन पुर्तगाल और २०१० की विश्व चैंपियन स्पेन शामिल हैं। ग्रुप की इन दो मजबूत टीमों को मोरक्को की टीम तगड़ी चुनौती देने की क्षमता रखती है। भले ही वह १९९८ के बाद पहली बार भाग ले रही है, पर उसका खेल देखने लायक होगा। वैसे स्पेन और पुर्तगाल को ही इस ग्रुप में नॉकआउट दौर में स्थान बनाने वाली टीमें माना जा रहा है। दिलचस्प है कि इन दोनों दिग्गज टीमों को पहले ही मैच में टकराना है। इसके परिणाम से पहले दिन ही साफ हो जाएगा कि कौन सी टीम ग्रुप में नंबर एक बनने जा रही है।

स्टेडियम को हरी झंडी

अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) के विशेषज्ञों ने देहरादून) इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम को अपनी हरी झंडी दिखा दी है। जहां बंगलादेश और अफगानिस्तान के बीच आगामी टी-२० सीरीज के मैच खेले जाएंगे। २५ हजार दर्शकों की क्षमता वाले देहरादून इंटरनेशनल क्रिकेट स्टेडियम में यह पहली सीरीज है। उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने हाल में विशेषज्ञों के साथ स्टेडियम का दौरा किया। इस दल में आईसीसी के विशेषज्ञ भी शामिल थे जिन्होंने स्टेडियम का जायजा लिया। विशेषज्ञों ने सभी सुविधाओं का जायजा लेने के बाद खिलाड़ियों के लिए सुविधाओं के स्तर, मीडिया और प्रसारण जरूरतों को अंतरराष्ट्रीय मैचों के तीनों फार्मेट के आयोजन के लिए उपयुक्त पाया। और इसे हाल के समय में सर्वश्रेष्ठ स्थलों में से एक करार दिया। उत्तराखण्ड की राजधानी में स्थित यह स्टेडियम पहाड़ियों के बीच स्थित है और इसके आस-पास की खूबसूरती देखते ही बनती है। इस स्टेडियम में मैदान के अलावा रेस्टोरेंट, खुदरा, खाने के लिए हॉल और कॉन्फ्रेंस हॉल समेत अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध हैं। स्टेडियम अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा के मानकों पर भी खरा उतरा है। इस स्टेडियम से आपातकाल में दर्शकों को महज ८ मिनट के भीतर निकाला जा सकता है। स्टेडियम को अफगानिस्तान क्रिकेट टीम के द्घरेलू मैदान के तौर पर चुना गया है और अफगान टीम तीन, पांच और सात जून २०१८ को इसी मैदान पर बांग्लादेश के खिलाफ तीन टी-२० मैचों की सीरीज खेलेगी। कोलाज डिजाइन द्वारा तैयार किया गया देहरादून अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम भारत का पहला लीड (ऊर्जा और पर्यावरण डिजाइन) गोल्ड मानक स्टेडियम है। कोलाज डिजाइन, भारत की अग्रणी खेल इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनी है। कोलाज डिजाइन ने पहले भी भारत में पहली बार हुए फीफा अंडर-१७ वर्ल्डकप के लिए सभी छह स्टेडियमों (गोवा, गुवाहाटी, कोच्चि, कोलकाता, नवी मुंबई और नई दिल्ली) पर काम किया था। आईसीसी से क्रिकेट स्टेडियम को हरी झंडी मिलने से अब यहां अंतरराष्ट्रीय मुकाबलों के लिए भी द्वार खुल गए। आईसीसी भविष्य में प्रस्तावित क्रिकेट सीरीज में इस स्टेडियम में भी मुकाबले हो सकेंगे। बीसीसीआई भी भारत में होने वाले अंतरराष्ट्रीय मुकाबलों को यहां आयोजित कर सकता है। राष्ट्रीय स्तर के मैच जैसे रणजी आदि के मैच भी यहां होंगे। आईसीसी से हरी झंडी मिलने से क्रिकेट प्रेमियों में खुशी है। सीएयू के सचिव पीसी वर्मा का कहना है कि दून के स्टेडियम को विश्व में पहचान मिलेगी। बड़े आयोजन से प्रदेश के युवा क्रिकेटरों को भी सीखने को मिलेगा। वरिष्ठ क्रिकेटर और कोच मनोज रावत का कहना है कि प्रदेश के लिए ये गौरव की बात है। यहां विश्वभर के दिग्गजों से रूबरू होने का मौका मिलेगा।

टेस्ट में जारी रहेगा टॉस

अनिल कुंबले की अगुवाई वाली आईसीसी की क्रिकेट समिति ने खेल के पारपंरिक प्रारूप से टॉस हटाने के खिलाफ फैसला करते हुए इसे खेल का अभिन्न हिस्सा करार दिया। जिससे टेस्ट मैच में खेल से पहले बल्लेबाजी और क्षेत्ररक्षण तय करने के लिए आगे भी सिक्के से फैसला होगा। पूर्व भारतीय कप्तान की अगुवाई में समिति ने खिलाडियों के व्यवहार के संबंध में सिफारिशें की और विश्व क्रिकेट संचालन संस्था से कड़े कदम उठाने तथा खिलाडियों और प्रतिस्पर्धी टीम के बीच ‘सम्मान की संस्कूति’ को बरकरार रखने की वकालत की और गेंद से छेड़छाड़ में शामिल होने के लिए कड़ी सजा की भी बात कही। हालांकि चर्चा के मुख्य बिंदुओं में से एक चर्चा का विषय यह था कि क्या टेस्ट मैचों के दौरान द्घरेलू हालात के फायदे को कम करने के लिए टॉस (दौरा करने वाली टीम को चुनने का अधिकार मिले) को खत्म कर दिया जाए, आईसीसी ने कहा, ”समिति ने चर्चा की कि क्या टॉस का अधिकार सिर्फ दौरा करने वाली टीम के सुपुर्द कर दिया जाए लेकिन बाद में महसूस किया गया कि यह टेस्ट क्रिकेट का अभिन्न हिस्सा है जो खेल की शुरुआत में मैच की भूमिका तय करता है।” समिति में हालांकि पूर्व अंतरराष्ट्रीय कप्तान जैसे माइक गैटिंग, महेला जयवर्धने, मौजूदा अंतरराष्ट्रीय कोच माइकल हेसन और पूर्व ऑस्ट्रेलियाई सलामी बल्लेबाज और मैच रैफरी डेविड बून भी शामिल थे। ये सब इस बात पर सहमत थे कि मेजबान देश को विश्व टेस्ट चैंपियनशिप को ध्यान में रखते हुए बेहतर स्तर की पिचें तैयार करनी चाहिए। समिति ने आईसीसी के मुख्य कार्यकारियों की समिति और आईसीसी बोर्ड की भावनाओं का समर्थन किया और हमने सम्मान की संस्कूति बनाने के लिए कई सिफारिशें की हैं।” आचार संहिता के संबंधित कुछ सुझाव इस प्रकार हैं – गेंद से छेड़छाड़ से जुड़े प्रतिबंध को बढ़ाना। अपमानजनक, व्यक्तिगत और आक्रामक अपशब्दों के लिए नए उल्लंद्घन बनाना। अनुचित फायदा उठाने का प्रयास करने के लिए नए अपराध को शामिल करने पर विचार करना। सम्मान संहिता बनाना। मैच रैफरी को किसी अपराध या उल्लंद्घन के स्तर को बढ़ाने या द्घटाने का अधिकार देना।

झूलन पर डाक टिकट
भारतीय महिला तेज गेंदबाज झूलन गोस्वामी की शानदार उपलब्धि को मान्यता देते हुए उन पर डाक टिकट जारी हुआ है। महिला एकदिवसीय क्रिकेट में सर्वाधिक विकेट लेने वाली गेंदबाज झूलन के महिला वनडे में २०० विकेट हासिल करने के सम्मान में इस डाक टिकट को जारी किया गया है। डाक टिकट पर झूलन को भारतीय जर्सी में कोलकाता के ऐतिहासिक विक्टोरिया मेमोरियल के साथ दिखाया गया है। पूर्व भारतीय कप्तान सौरभ गांगुली की उपस्थिति में कोलकाता स्पोर्ट्‌स जर्नलिस्ट क्लब में इस डाक टिकट को जारी किया गया। पूर्व आस्ट्रेलियाई क्रिकेटर लीसा स्थालेकर ने झूलन की इस उपलब्धि पर उन्हें बधाई दी। झूलन को वर्ष २००७ में आईसीसी की सर्वश्रेष्ठ महिला खिलाड़ी का पुरस्कार भी मिला था।

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