आम आदमी पार्टी की उत्तराखण्ड में सक्रियता के चलते कांग्रेस और भाजपा के नेता बेहद परेशान बताए जा रहे हैं। कारण है दोनों ही दलों के असंतुष्टों ने कहना शुरू कर दिया है कि यदि उन्हें पार्टी ने यथोचित सम्मान नहीं दिया तो वे ‘आप’ में शामिल हो जाएंगे। जानकारों की मानें तो ‘आप’ ने दोनों ही दलों के कुछ नेताओं पर डोरे डालने शुरू भी कर दिए हैं। भाजपा में उन्हें सबसे साॅफ्ट टारगेट सतपाल महाराज नजर आ रहे हैं। पिछले दिनों दिल्ली के मुख्यमंत्री और ‘आप’ सर्वेसर्वा अरविंद केजरीवाल संग उनकी कथित मीटिंग ने उत्तराखण्ड के राजनीतिक तापमान को खासा गर्माने का काम कर डाला है। जानकारों का यह भी कहना है कि सतपाल महाराज अपने संग चार सीटिंग भाजपा विधायकों और पौड़ी संसदीय सीट के कई बड़े भाजपा नेताओं की भारी-भरकम फौज के साथ मय गाजे- बाजे ‘आप’ मय हो सकते हैं। इधर कुमाऊं क्षेत्र के एक बड़े भाजपा नेता भी इन दिनों खासे सक्रिय नजर आने लगे हैं। कंेद्र सरकार में मंत्री रह चुके इन नेताजी को बड़ा मलाल है कि पार्टी ने उन्हें पूरी तरह से हाशिए में डाल दिया है। ‘आप’ के रडार पर कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय भी बताए जा रहे हैं। हालांकि गांधी परिवार के प्रति अगाध श्रद्धा रखने वाले उपाध्याय अभी तक ‘आप’ के न्यौते को इग्नौर कर रहे हैं। खबर यह भी गरम है कि उक्रांद के शीर्ष नेता काशी सिंह ऐरी के ‘आप’ मय होने की जबर्दस्त संभावना है। यदि सतपाल महाराज, किशोर उपाध्याय और ऐरी में से एक का भी शिकार ‘आप’ करने में सफल होती है तो राज्य विधानसभा चुनावों के नजदीक आते-आते दोनों ही दलों में भारी भगदड़ मचनी तय है।
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