लॉकडाउन के पीरियड में सबसे पहले अक्षय कुमार ने किसी तरह की शूटिंग की है। उस शूटिंग की परमिशन 22 और 23 मई के लिए थी, मगर शूटिंग फाइनली 25 मई को कमालिस्तान स्टूडियो में हुई। वहां पर शूटिंग कैसे की गई, कितने क्रु मेंबर्स को बुलाया गया इन सब को लेकर मीडिया को अंदरूनी जानकारी हासिल हुई है। इस सोशल मैसेज वाली शॉर्ट फिल्म को अनिल नायडू ने प्रोड्यूस किया है। वह बाल्की और अक्षय कुमार के विभिन्न प्रोजेक्टों को प्रोड्यूस कर चुके हैं।
मीडिया से बातचीत में अक्षय ने इसकी मेकिंग की जानकारी शेयर की। उन्होंने कहा कि सबसे पहले मंत्रालय ने अक्षय कुमार और आर बाल्की से इसके लिए संपर्क किया था। फिर इस शॉर्ट फिल्म की एक स्क्रिप्ट तैयार की गई जो डेढ पन्नों की थी। उसके बाद हमने मंत्रालय से कहा कि हमें शूटिंग के लिए परमिशन चाहिए तो उन्होंने खुद मुंबई पुलिस कमिश्नर से इजाजत मांगी जो मिल भी गई। हम लोगों ने एहतियात के तौर पर 22 और 23 मई की तारीख पर शूटिंग के लिए इजाजत मांगी थी। आखिरकरा शूटिंग 25 मई को हुई। यह शूटिंग हम लोगों ने महज ढाई से 3 घंटों में पूरी कर ली।
उन्होंने बताया कि सबका कॉल टाइम सुबह 7:00 का था और हम लोग 3 घंटे बाद यानी सुबह 10 बजे तक पैकअप कर चुके थे। हमने जहां जहां पर क्रू कम हो सकते थे वो किया। सिर्फ जो जरूरी क्रू था उन्हें ही सेट पर बुलाया था। सपोर्ट ग्रुप के तहत ड्राइवर हेल्पर, सपोर्ट ब्वॉय यह सब आते हैं। उनका सीधा संबंध शूटिंग से नहीं होता है पर सेट पर मैन पावर की तादाद बढ़ती है।
लॉकडाउन से पहले सेट पर 60 से 70 क्रू मेंबर्स हुआ करते थे। वहीं हमने महज 20 क्रू मेंबर्स के साथ इसकी शूटिंग कर ली। अक्षय कुमार खुद ड्राइव कर सेट पर आए। सेट में सिर्फ मेकअप आर्टिस्ट था और कोई क्रू मेंबर नहीं। इसी तरह सिनेमैटोग्राफर भी सिर्फ एक कैमरा असिस्टेंट के साथ आए। मैंने खुद बाल्की सर को सेट आने के लिए पिकअप किया था। बाल्की सर के साथ भी बहुत कम असिस्टेंट डायरेक्टर थे। पूरे शूट में कोई कॉस्टयूम चेंज नहीं था। अक्षय कुमार को एक दिन पहले हम लोगों ने कॉस्ट्यूम भिजवा दी थी। अभी जो हालात हैं, वैसे में ज्यादा भीड इकट्ठी नहीं की जा सकती है।