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तीसरी लहर में  भी जारी रहेगी वेंटिलेटर की समस्या !

देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर में धराशायी  होती स्वास्थ्य व्यवस्था दुनिया ने देखी । इस कारण अस्पतालों में कोरोना मरीजों की संख्या और मौतों का आंकड़ा भी बढ़ता रहा  । कोरोना के इस बढ़ते रूप के कारण देशभर  में ऑक्सीजन की कमी किसी से छिपी नहीं है। भले ही सरकारी दावे कुछ भी हों, लेकिन जमीनी हकीकत अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी के चलते हो रही मौतों से समझी जा सकती है। वहीं अगर बात करें वेंटिलेटर की तो  एक वेंटिलेटर सालभर में न जाने कितने लोगों की जान बचाता है। यह जीवन रक्षक उपकरण काफी महंगा होता है इसलिए हर अस्पताल में इसकी व्यवस्था होती भी  नहीं है । दिल्ली-एनसीआर के बड़े अस्पतालों में भी हमेशा वेंटिलेटर की कमी रहती आई है। इस तरह के हालात  को देखते हुए  देश में कोरोना संक्रमण के अलावा गंभीर चिकित्सकीय सेवाओं को और अधिक मजबूत करने के लिए केंद्र सरकार ने ऑक्सीजन बेड और वेंटिलेटर की संख्या बढ़ाने की योजना बनाई थी।

पिछले साल प्रधानमंत्री राहत कोष के जरिए इन वेंटिलेटर का आवंटन भी किया गया। जिसके चलते अब तक 56 हजार  से ज्यादा वेंटीलेटर आवंटित किए गए हैं, लेकिन इनमें से चालू हालत में अभी केवल 42 हजार  वेंटिलेटर है। बाकी अभी सील के पैक अस्पताल में पहुंचने का इंतजार कर रहे हैं या फिर खरीदी की प्रक्रिया में है। वह लक्ष्य की तुलना में 24 फीसदी 70 फीसदी अभी भी मरीजों को उपलब्ध नहीं हुए हैं। सिर्फ यूपी को 6 हजार  से अधिक आवंटित हुए हैं , लेकिन इनमें से 4 हजार 258 ही मरीजों को उपलब्ध हैं।

दरअसल दूसरी लहर में ऑक्सीजन बेड के अलावा आईसीयू, वेंटीलेटर की भारी कमी देखने को मिली थी। पहली बार लहर के दौरान जब मामले सामने आए थे। तब सरकार ने अनुमान लगाया था कि शायद अधिक जरूरत न पड़े, लेकिन अलग-अलग म्यूटेशन होने के बाद स्थिति भयावह हुई। अगर पर्याप्त इंतजाम नहीं हुए तो तीसरी लहर में दिक्कत आनी लाजमी है।

पीएम राहत कोष

पचास हजार पीएम राहत कोष से ख़रीदे 

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक आरटीआई के जवाब में जानकारी दी है कि आठ अलग-अलग कंपनियों के जरिए 59 हजार 873 वेंटिलेटर की खरीदी हुई है। जिनमें से 56 हजार 43 वेंटिलेटर आवंटन की प्रक्रिया में हैं। इन 56 हजार 43 में से 47 हजार 130 वेंटिलेटर ही अब तक आवंटित हुए हैं जिनमें 42 हजार 419 अभी चालू स्थिति में है। जबकि 59 हजार 873 में से 50 हजार  वेंटिलेटर सरकार ने प्रधानमंत्री राहत कोष के जरिए खरीदे हैं।

1 . 23 करोड़ रेमडेसिविर इंजेक्शन राज्यों को दिए गए

आरटीआई कार्यकर्ता चंडीगढ़ निवासी राम कुमार गर्ग को मंत्रालय ने बताया कि अब तक केंद्र की ओर से 422.79 लाख मास्क आवंटित किए गए हैं। जबकि 176.91 लाख पीपीई किट और 1.23 करोड़ रेमडेसेविर राज्यों को उपलब्ध कराए जा चुके हैं। अस्पतालों के स्तर पर वेंटीलेटर के चालू होने या वर्तमान स्थिति के बारे में जानकारी नहीं है। राज्यों को वेंटिलेटर आवंटित किए जाते हैं जहां से अस्पतालों को दिए जा रहे हैं।

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