देश में बढ़ती बेरोजगारी से आज का युवा सबसे ज्यादा परेशान है। युवाओं का मानना है कि शिक्षा के बाद नौकरी ढूंढना आज उनके सामने सबसे बड़ी समस्या है। आज नौकरी पाना पहले की तुलना में कहीं अधिक कठिन है। इसका कारण बढ़ती तकनीक भी है जिसके चलते कम नौकरियां पैदा हो रही हैं। 15 से 34 आयु वर्ग के 36 फीसदी भारतीय युवा भी मानते हैं कि बेरोजगारी देश की सबसे बड़ी समस्या है सर्वेक्षण में शामिल 16 प्रतिशत युवा गरीबी को अपनी सबसे बड़ी समस्या मानते हैं। जबकि 13 फीसदी युवाओं ने कहा कि महंगाई उनके लिए सबसे बड़ी समस्या है। सर्वेक्षण में शामिल 6 प्रतिशत युवाओं ने कहा कि भ्रष्टाचार सबसे बड़ी समस्या है।
लोकनीति-सीएसडीएस ने इस महीने की शुरुआत में रिपोर्ट का एक हिस्सा जारी किया था। इसमें युवाओं ने कहा है कि देश के सामने अर्थव्यवस्था से जुड़ी चुनौतियां सबसे अहम हैं। विशेष रूप से लोकनीति-सीएसडीएस रिपोर्ट युवा भारतीयों की करियर आकांक्षाओं, नौकरी की प्राथमिकताओं और अपेक्षाओं पर आधारित है। 40 फीसदी युवाओं के मुताबिक ऑनलाइन पढ़ाई एक बड़ी समस्या है। साथ ही 4 फीसदी युवाओं के मुताबिक बढ़ती जनसंख्या एक बड़ी समस्या है। 18 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने कोई उत्तर नहीं दिया।
बेरोजगारी को अपनी सबसे बड़ी समस्या मानने वाले युवाओं का अनुपात 2016 में इसी तरह के सर्वेक्षण के परिणामों की तुलना में 18 प्रतिशत अंक बढ़ गया है। प्राथमिक चिंता के रूप में मूल्य वृद्धि की पहचान करने वालों की हिस्सेदारी में 7 प्रतिशत की वृद्धि हुई। लोकनीति-सीएसडीएस ने 18 राज्यों (उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, बिहार, पश्चिम बंगाल, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, तमिलनाडु, राजस्थान, कर्नाटक, गुजरात, ओडिशा, केरल, झारखंड, असम, पंजाब, छत्तीसगढ़ और दिल्ली) में सर्वेक्षण किया। ) इसमें 15 से 34 वर्ष के 9316 युवा शामिल थे। सर्वेक्षण का फील्डवर्क नवंबर और दिसंबर 2022 में आयोजित किया गया था। जब सर्वेक्षण में युवाओं से देश की सबसे बड़ी समस्या के बारे में पूछा गया तो उन्होंने बेरोजगारी को शीर्ष पर रखा।
सर्वेक्षण में युवाओं से उनके अध्ययन के क्षेत्र के बारे में पूछा गया। सर्वेक्षण में शामिल एक तिहाई, 35 प्रतिशत युवाओं ने कहा कि अध्ययन के लिए कला/मानविकी उनकी पहली पसंद थी। सर्वेक्षण में शामिल 20 प्रतिशत युवाओं ने विज्ञान में रुचि व्यक्त की। 8 फीसदी युवाओं ने कहा कि कॉमर्स उनकी प्राथमिकता है। इसके अलावा, सर्वेक्षण में भाग लेने वाले केवल 5 प्रतिशत युवाओं ने कहा कि वे विज्ञान/प्रौद्योगिकी को पसंद करते हैं, जबकि 16 प्रतिशत युवाओं ने कहा कि उन्हें मिश्रित विषय पसंद हैं। सर्वे में शामिल बाकी युवाओं ने कोई जवाब नहीं दिया।
23 प्रतिशत युवा स्व-रोज़गार में
सर्वे में भाग लेने वाले युवाओं के रोजगार प्रोफ़ाइल की भी जांच की गई। पाया गया कि लगभग एक चौथाई यानी 23 प्रतिशत युवा स्व-रोज़गार में हैं। यानी उनका अपना कुछ काम है। इसके अलावा सर्वेक्षण में शामिल 16 प्रतिशत युवा डॉक्टर और इंजीनियर जैसे व्यवसायों से संबंधित थे। 15 फीसदी युवा कृषि से जुड़े थे। 14 प्रतिशत युवा अर्धकुशल और 13 प्रतिशत कुशल कार्य में लगे हैं। सर्वे से यह भी पता चला कि सरकारी नौकरियां युवाओं का सबसे पसंदीदा क्षेत्र है, फिर भी केवल 6 फीसदी युवा ही सरकारी नौकरियों में हैं।
16 फीसदी युवा स्वास्थ्य क्षेत्र में करियर बनाना चाहते हैं
सर्वे में हिस्सा लेने वाले युवाओं से उनकी करियर प्लानिंग के बारे में भी पूछा गया तो सर्वेक्षण में भाग लेने वाले 16 प्रतिशत युवा स्वास्थ्य क्षेत्र (डॉक्टर, नर्स और अन्य चिकित्सा कर्मी) में अपना करियर बनाना चाहते थे। 2021 में कोरोना महामारी के दौरान किए गए एक सर्वेक्षण से भी संकेत मिला कि युवाओं का एक बड़ा हिस्सा स्वास्थ्य क्षेत्र से जुड़ना चाहता है। कोविड-19 ने स्वास्थ्य क्षेत्र में रुचि रखने वाले युवाओं की संख्या बढ़ाने में काफी मदद की है।
सरकारी या प्राइवेट नौकरी?
सर्वे में युवाओं से सरकारी या प्राइवेट नौकरी में से किसी एक को चुनने को कहा गया। सर्वे में हिस्सा लेने वाले 61 फीसदी युवाओं ने कहा कि सरकारी नौकरी उनकी प्राथमिकता है। 27 फीसदी युवाओं ने अपना खुद का व्यवसाय, उद्यम या स्टार्टअप शुरू करने की इच्छा जताई। केवल 6 प्रतिशत युवा ही प्राइवेट नौकरी करना चाहते हैं।