पूर्व वित्त एवं गृह मंत्री पी. चिंदबरम को आइएनएक्स मीडिया मामले में ‘पूरे षड्यंत्र का मास्टरमांड’ कहने वाले दिल्ली उच्च न्यायालय के जज न्यायमूर्ति सुनील गौड़ को सेवानिवृति के तुरंत बाद ही केंद्र सरकार ने एक बड़े महत्वपूर्ण पद पर नियुक्त कर दिया है। हालांकि अभी अधिकारिक घोषणा होनी बाकी है लेकिन कांग्रेस ने इसे मुद्दा बनाते हुए सोशल मीडिया में ‘वार’ शुरू कर दी है। न्यायमूर्ति सुनील गौड़ को केंद्र सरकार ने प्रिवेंशन आॅपफ मनी लाॅन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) अपीलेट ट्रिब्यूनल का नया अध्यक्ष नियुक्त किया है। न्यायमूर्ति गौड़ सरकारी अधिसूचना जारी होने पर न्यायमूर्मि मनमोहन सिंह का स्थान लेगें जिनका तीन वर्ष का कार्यकाल 21 सितंबर को समाप्त होने जा रहा है।
न्यायमूर्ति सुनील गौड़ 22 अगस्त को यानि चिदंबरम की बेल याचिका निरस्त करने के दो दिन बाद रिटायर हो चुके हैं। गौड़ ने इससे पहले नेशनल हैराल्ड केस की सुनवाई के बाद कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांध्ी और राहुल गांध्ी के खिलाफ मुकदमा चलाने का आदेश दिया था। कांगेस प्रवक्ता और सुप्रीम कोर्ट के वकील ब्रिजेश कलप्पा ने ट्वििट कर इस मुद्दे पर तंज कसा है ‘वह कौन सा पद होता है जिसमें आपको पहले से दिया गया उत्तर कापी पेस्ट करना होता है? न्यायध्ीश का पद। बहरहाल जज सुनील गौड़ को बधाई। रिटायर होने के मात्रा एक सप्ताह के भीतर बनाये गए चेयरमैन।