नूंह में एक बार फिर से साम्प्रदायिक तनाव का माहौल बना हुआ है। हरियाणा के इस जिले से एक बार फिर पथराव बाजी की खबरें सामने आई है। 16 तारीख की रात कुएं पूजन के लिए जा रही कुछ महिलाओं पर एक मदरसे से कुछ अज्ञात लोगों द्वारा पथराव बाजी की गई। इस हमले के दौरान करीब तीन महिलाएं घायल हो गई। इस घटना के बाद पूरे इलाके में पुलिस को तैनात किया गया है। वहीं इस मामले में पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर कार्रवाई शुरू की।
नूह जिले में पथराव बाजी घटना की जानकारी मिलते ही वहां के पुलिस अधीक्षक (एसपी ) नरेंद्र बिजारणिया भारी पुलिस बल के साथ पहुंचे। पुलिस के कहने अनुसार में यह घटना 8 बजकर 20 मिनट पर हुई। जब महिलाओं का एक समूह कुआं पूजन के लिए जा रही था । पुलिस अनुसार जब ये महिलाएं मदरसे के पास से गुजरी तो कथित तौर पर उनपर पत्थर मार कर हमले किए गए। जिस दौरान तीन महिलाएं घायल हो गई। हालांकि किसी महिला को गंभीर चोट नहीं आई है। आरोपियों में अधिकतर आरोपी नाबालिग हैं। मदरसे के मौलवी ने कुछ छात्रों द्वारा पथराव बाजी करने की बात को स्वीकार किया है।
कुछ हिन्दू संगठनों ने घटना में शामिल लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की मांग की है। महिलाओं पर किए गए हमले के विरोध में ज्यादातर हिन्दू व्यापरियों ने इलाके में अपनी दुकाने बंद कर रखी हैं। पुलिस अधीक्षक नरेंद्र बिजारनिया का कहना है कि दोनों सम्प्रदायों में तनाव का माहौल बना हुआ है। पुलिस द्वारा शांति बनाए रखने की अपील की जा रही है। इसके अलावा आश्वासन दिया गया है कि दोषियों पर कानून अनुसार उचित कार्रवाई की जाएगी।
हरियाणा के जिले नूह में कोई पहली बार साप्रदायिक तनाव का माहौल नहीं बना। इससे पहले 31 जुलाई के दिन दो सम्प्रदायों के बीच पथरावबाजी हुई थी जिसमें करीब 6 लोगों की जान गई थी। उस दौरान विश्व हिन्दू परिषद की शोभा यात्रा के दौरान भीड़ द्वारा पथराव बाजी की गई थी। करीब 116 लोगों को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था। सांप्रदायिक तनाव को हिंसक रूप लेने से रोकने के लिए धारा 144 लगा दी गई थी। जुलाई के अंत में हुई यह हिंसा इसलिए हुई क्योकि सोशल मीडिया पर यह खबर चलाई गई थी कि विश्व हिंदू परिषद द्वारा आयोजित रैली में मोहित यादव उर्फ मोनू मानेसर भी शामिल होंगे। उनसे बदला लेने के लिए भीड़ द्वारा पथराव बाजी की गई थी।