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क्या है विश्वकर्मा योजना

 

भारतीय प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने 73वें जन्मदिन पर पीएम विश्वकर्मा स्कीम लॉन्च की है। इस स्कीम को प्रधानमंत्री के एक लम्बे भाषण द्वारा समझाया भी गया है। सरकार का दावा है कि इस स्कीम का लाभ देश के ज़रूरतमंद और ग़रीब तबके को मिल सकेगा। इस साल स्वतंत्रता दिवस पर राष्ट्र को संबोधित करते हुए पारंपरिक कौशल वाले लोगों को लाभ पहुंचाने के लिए प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना लागू करने की घोषणा की थी। ऐसे में बड़ा सवाल यही है कि इस योजना का लाभ किन लोगों को मिलेगा और किस तरह इस योजना का लाभ लिया जा सकता है?

 

15 अगस्त 2023, को लाल किले से अपने भाषण में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि विश्वकर्मा जयंती के दिन 17 सितंबर को 13-15 हज़ार करोड़ रुपये से ‘विश्वकर्मा योजना’ लॉन्च की जाएगी। इस योजना का पूरा नाम ‘प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना’ है। इसके ज़रिए सरकार आने वाले वर्षों में पारंपरिक कौशल वाले लोगों की मदद करेगी। प्रधानमंत्री की घोषणा के बाद 16 अगस्त को केंद्रीय कैबिनेट ने इस योजना को मंजूरी दे दी गई। इस योजना के लिए 13 हज़ार करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। यह योजना अगले पाँच साल यानी वर्ष 2023-2024 से वर्ष 2027-2028 तक लागू रहेगी।

प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना के तहत कारीगरों और हस्तशिल्प श्रमिकों को विश्वकर्मा प्रमाण पत्र और पहचान पत्र दिया जायेगा। इन लोगों को पहले चरण में एक लाख तक का ब्याज़ मुक्त लोन मिलेगा। इसके बाद दूसरे चरण में पाँच फ़ीसदी की रियायती की ब्याज़ दर के साथ दो लाख रुपए मिलेंगे। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना की जानकारी देते हुए मीडिया को बताया कि ‘इस योजना के तहत कारीगरों को प्रशिक्षित भी किया जाएगा ये प्रशिक्षण दो रूप में दिए जाएँगे, बुनियादी प्रशिक्षण और उन्नत प्रशिक्षण।’ प्रशिक्षणार्थियों को प्रतिदिन 500 रुपए की आर्थिक सहायता दी जाएगी। इसके साथ ही औद्योगिक उपकरण ख़रीदने के लिए 15 हजार रुपए की वित्तीय सहायता भी प्रदान की जाएगी।

इस योजना के तहत पहले वर्ष में पाँच लाख परिवारों को लाभ मिलेगा और पाँच वर्षों में कुल 30 लाख परिवारों को इस योजना से लाभ मिलने का अनुमान लगाया जा रहा है। 11 सितंबर तक इस पर 11322 लोगों ने आवेदन कर दिया है। हालांकि इनके वेरिफिकेशन की प्रक्रिया अभी शुरू नहीं हुई है। इस योजना में पंजीकृत करने के लिए आपको सबसे पहले मोबाइल और आधार वेरिफिकेशन करें, आपको अपना मोबाइल और आधार वेरिफ़ाई कराना होगा। इसके बाद, पंजीयन कराना; पंजीयन फॉर्म के ज़रिए आप आवेदन कर पाएंगे। यह ग्राम पंचायत और शहरी निकाय के सुविधा केंद्र पर और इसे ऑनलाइन भी किया जा सकता है। इसके बाद, आप प्रधानमंत्री विश्वकर्मा सर्टिफ़िकेट और पहचान पत्र डाउनलोड कर सकते हैं। आख़िर में, अपनी कुशलता के मुताबिक आप आवेदन कर सकते हैं। आवेदन दाख़िल होने के बाद तीन चरणों में वेरिफ़िकेशन की प्रक्रिया पूरी होगी फिर आपको इस योजना का लाभ मिलेगा।

स्कीम नहीं, चुनावी जुमला

कांग्रेस प्रवक्ता और राज्यसभा सांसद ने पीएम विश्वकर्मा योजना पर बोले, कि पीएम नरेंद्र मोदी एक और चुनावी जुमला पेश कर रहे हैं। जनता इस बार मूर्ख नहीं बनेगी। जयराम रमेश ने कहा- ये प्रधानमंत्री के रिटायरमेंट का समय है। उन्होंने कहा कि नोटबंदी, ग़लत जीएसटी और कोविड लॉकडाउन सूक्ष्म और लघु उद्योंगों के लिए सबसे ज़्यादा विनाशकारी रहा है। जयराम रमेश ने कहा, “मोदी सरकार की नीतियों से प्रभावित बहुत से लोगों ने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान राहुल गांधी से मुलाक़ात की कर उनसे जुड़े रहे हैं। वह उनकी पीड़ा और परेशानियों को लगातार सुन रहे हैं। लेकिन प्रधानमंत्री ने उन सभी की आजीविका को तहस नहस कर उनका विनाश करने के बाद प्रधानमंत्री को काफ़ी देर के बाद उनकी नाराज़गी का पता चला है। उनके असंतोष को देखकर वह विश्वकर्मा योजना के रूप में एक और चुनावी जुमला पेश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि पीएम जाति जनगणना के मुद्दे पर कुछ नहीं बोल रहे हैं।

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