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WhatsApp पर इंटरनेशनल कॉल के जरिए हो रहा फ्रॉड !

WhatsApp दुनिया में सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला मैसेजिंग ऐप है। भारत में इसके 40 करोड़ से ज्यादा यूजर्स हैं। लेकिन अब साइबर अपराधियों ने व्हाट्सएप के जरिए लोगों को ठगना भी शुरू कर दिया है। हाल ही में ऐसी कई रिपोर्ट्स सामने आई हैं, जिनमें ऑनलाइन फ्रॉड के लिए WhatsApp का इस्तेमाल किया गया है। वॉट्सऐप इसके लिए नए फीचर्स की टेस्टिंग भी कर रहा है, ताकि फर्जी कॉल और मैसेज के जरिए यूजर्स को ठगा न जा सके।

ताजा मामला पिछले हफ्ते सामने आया है, जिसमें भारतीय यूजर्स को कुछ अंतरराष्ट्रीय नंबरों से WhatsApp कॉल आ रहे थे। कई यूजर्स ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर भी इन नंबरों से कॉल आने की शिकायत की है। साइबर विशेषज्ञों का मानना है कि +254, +84, +63 जैसे नंबरों से आने वाले अंतरराष्ट्रीय व्हाट्सएप कॉल ऑनलाइन जालसाजों के हो सकते हैं। इंडियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर (I4C) ने इसे लेकर गृह मंत्रालय को आगाह किया है, ताकि भारतीय यूजर्स किसी भी तरह के साइबर क्राइम का शिकार न बनें। तेजी से बढ़ते साइबर अपराधों पर लगाम लगाने के लिए विशेषज्ञ, डेटा विश्लेषक और फोरेंसिक टीमें सरकार के साथ कंधे से कंधा मिलाकर लगातार काम कर रही हैं।

रिपोर्ट के मुताबिक, हाल के दिनों में WhatsApp यूजर्स को सिंगापुर, वियतनाम और मलेशिया से कॉल्स आए हैं। कयास लगाए जा रहे हैं कि इन साइबर अपराधियों के पास भारतीय यूजर्स का वित्तीय डेटा हो सकता है, जिसका इस्तेमाल कर ये यूजर्स को निशाना बना रहे हैं। आई4सी के जानकारों का कहना है कि यह नए तरह का साइबर क्राइम है और यह तेजी से हो रहा है।

जागरूक यूजर्स इन अनजान अंतरराष्ट्रीय नंबरों से आने वाले कॉल और मैसेज को ब्लॉक कर देते हैं, वहीं कई यूजर्स ऐसे भी हैं जो इन साइबर अपराधियों के झांसे में आ जाते हैं। कई यूजर्स ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर बताया है कि इन नंबरों से सुबह 6 बजे से 7 बजे के बीच या देर रात को कॉल आती हैं। इसके अलावा इन नंबरों से यूजर्स को मैसेज भी भेजे जा रहे हैं। अंतर्राष्ट्रीय नंबरों से आने वाले संदेश इन नंबरों से आने वाले संदेशों में एक लड़की/लड़के का नाम होता है जिसमें लिखा होता है “मेरा नाम अलीना/कीथ है, क्या मैं आपका कुछ समय ले सकता हूं।

5जी और इंटरनेट की इस दुनिया में भारत में बहुत से लोग डिजिटल कमाई कर रहे हैं। मुझे पता है कि आप भी उनमें से एक हैं। मैं आपको यहां पैसे कमाने के बारे में भी बताना चाहता हूं। अगर आप बात नहीं करेंगे तो आप एक महान अवसर खो देंगे। मुझे उम्मीद है कि आप मेरे संदेश का जवाब देंगे। कई WhatsApp यूजर्स इसका जवाब देते हैं। यह पैसे कमाने के लालच में किया जा रहा है।इसके बाद साइबर अपराधी यूजर्स को फंसाकर ठगी कर रहे हैं।इन फ्रॉड को इतनी सफाई से अंजाम दिया जा रहा है कि भोले-भाले यूजर्स को कुछ पता भी नहीं चलता और उनके बैंक खातों से पैसे गायब हो जाते हैं।

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अगर आपके पास भी इस तरह के कॉल और मैसेज आ रहे हैं तो सरकार की वेबसाइट Cybercrime.gov.in पर इसकी शिकायत कर सकते हैं। सरकारी एजेंसियां इन नंबरों को ट्रैक करती हैं और यूजर्स द्वारा रिपोर्ट किए जाने के बाद उन पर कार्रवाई करती हैं। I4C के मुताबिक, 2018 से अब तक 12 करोड़ से ज्यादा लोगों को साइबर क्राइम से बचाया जा चुका है. इसके लिए एजेंसी ने साइबर फ्रॉड रिपोर्टिंग एंड मैनेजमेंट सिस्टम भी विकसित किया है।

2021 की एक रिपोर्ट के मुताबिक, भारत में हर यूजर को एक महीने में कम से कम 17 फेक WhatsApp कॉल रिसीव होते हैं। यह संख्या ज्यादा भी हो सकती है। इन अंतरराष्ट्रीय नंबरों से लगातार फर्जी कॉल्स को रोकने के लिए हमने ट्रूकॉलर के साथ साझेदारी की है। जल्द ही WhatsApp यूजर्स को ट्रू कॉलर बेस्ड सर्विस मिलने लगेगी। इस सर्विस से इंटरनेट पर आने वाले फर्जी कॉल और मैसेज पर लगाम लगेगी। इस सर्विस के लिए आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और मशीन लर्निंग का इस्तेमाल किया जा रहा है।

इस तकनीक की मदद से किसी भी फर्जी नंबर की पहचान की जा सकती है। कॉल और मैसेज आने से पहले ही यूजर को अलर्ट मिल जाएगा, जिससे यूजर्स समझ जाएंगे कि कॉल किसी साइबर क्रिमिनल ने की है। टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI) ने भी सभी टेलीकॉम कंपनियों को ऑफलाइन आने वाले फर्जी कॉल्स को रोकने का निर्देश दिया है। इस निर्देश के बाद सभी निजी टेलीकॉम कंपनियों ने यूजर्स के लिए एआई बेस्ड सर्विस रोल आउट करना शुरू कर दिया है। ऐसे में यूजर्स को ऑनलाइन के साथ-साथ ऑफलाइन भी मिल रहे फर्जी कॉल और मैसेज से राहत मिलेगी।

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