दिल्ली के उत्तर-पूर्वी इलाकों में पिछले दिनों हुए दंगों में ताहिर हुसैन का नाम सामने आ रहा है। ताहिर पर आईबी अधिकारी अकिंत शर्मा की हत्या का आरोप भी लगाया गया है। ताहिर हुसैन के खिलाफ दिल्ली के अलग-अलग थानों में चार एफआईआर दर्ज की गई है, दो एफआईआर खजूरी खास और दो दयालपुर थाने में दर्ज की गई है। पहली हत्या, दूसरी शस्त्र अधिनियम, दो दंगा भड़काने और सामाजिक सौहार्द खराब करने की धाराओं में दर्ज की गई है। एक एफआईआर दिल्ली पुलिस कर्मी की शिकायत पर दर्ज की गई है।
ताहिर के खिलाफ एक एफआईआर अजय गोस्वामी नाम के व्यक्ति ने दयालपुर थाने में दर्ज करवाई है। शिकायत में अजय ने बताया कि ताहिर के घर से गोलियां, पट्रोल बम और पत्थर चलाएं गए थे। शिकायतकर्ता अजय ने अपनी शिकायत में कहा कि वह 25 फरवरी को अपने चाचा राकेश शर्मा के घर आया था, दोपहर को जब वह खजूरी पहुंचा तो उसने देखा कि करावल नगर के मेन रोड़ पर गोलीबारी व पत्थरबाजी हो रही है। तब इस माहौल को देखकर मैं अपने चाचा के घर वापिस भागने लगा, तो पीछे से किसी ने गोली मारी। वहां खड़े कुछ युवकों ने बताया कि यह गोलियां ताहिर हुस्सैन के घर से चलाई जा रही है।
दूसरी एफआईआर खजूरी थाना में तैनात सिपाही सग्रांम सिंह की शिकायत पर दर्ज की गई है। सग्रांम सिंह ने बताया कि वह 24 फरवरी को चांदबाग इलाके के ई-ब्लाक में ड्यूटी पर तैनात थे। तभी आसपास के इलाकों से भीड़ आने लगी। भीड़ पत्थरबाजी कर रही थी तभी उन्होंने देखा कि प्रदीप की पार्किंग के पास ताहिर हुसैन के घर की छत पर भारी संख्या में उपद्रवी मौजूद थे। वह उपद्रवी पार्किंग की साइड में पत्थर और ज्वलनशील पदार्थ फेंक रहे थे। जब पुलिस ने ताहिर हुसैन की काल डिटेल निकाली तो पता चला कि ताहिर ने 19 नंबरों पर सबसे ज्यादा बार बात की थी।
ताहिर हुसैन ने गुरुवार को राउज एवेन्यू अदालत में आत्मसमर्पण की याचिका दायर की जिसे अदालत ने खारिज कर दिया। इसके बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया है ताहिर के वकील मुकेश कालिया ने बताया की उन्होंने चीफ मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट विशाल पाहूजा की अदालत में पार्षद की आत्मसमर्पण की याचिका डाली थी जिसे अदालत ने खारिज कर दिया है। ताहिर हुसैन की मेडिकल जांच के बाद पुलिस उसे कड़कड़डूमा कोर्ट में पेश करेगी।