कूकी और मैतेई समुदाय के संघर्ष के बीच असम राइफल्स और मणिपुर पुलिस के बीच तनातनी हो गई है। असम राइफल्स की नौवीं टुकड़ी को हटाने की मांग की जा रही है।असम राइफल्स पर आरोप लगाया गया है कि वह मणिपुर पुलिस के कार्यों में बाधा डाल रही है। विष्णुपुर जिले के क्वाक्टा इलाके में 3 अगस्त की सुबह मैतेई समुदाय के तीन लोग अपने घरों में मृत मिले थे। पुलिस के अनुसार इन तीनों हत्याओं के पीछे संदिग्ध कुकी उग्रवादियों का हाथ है। उस दिन मैतेई और कुकी-जोमी लोगों के बीच गोलीबारी भी हुई थी। इसके बाद से ही पूरे जिले में तनाव फैल गया।
मणिपुर पुलिस के मुताबिक आरोपियों की तलाश करने में असम राइफल्स की नौवीं बटालियन ने बाधा डाली है। पुलिस की टीमें आरोपी कुकी उग्रवादियों की तलाश में क्वाक्टा वार्ड 8 के साथ फोलजांग रोड की ओर जा रही थी। पुलिस को संदेह था कि आरोपी क्वाक्टा और फोलजांग गांव के बीच के इलाके में छिपे हुए हैं। क्वाक्टा और फोलजांग गांव की ओर जाते हुए पुलिस को रोकने हेतु असम राइफल्स ने अपने वाहन बीच में खडे कर दिए जिस समय आरोपी भागने में कामयाब हो गए। इस पूरे मामले को लेकर मणिपुर पुलिस ने स्वतः संज्ञान लेते हुए पांच अगस्त को असम राइफल्स की नौवीं बटालियन के खिलाफ एफआईआर दर्ज की । एफआईआर में पुलिस ने असम राइफल्स पर विष्णुपुर जिले के क्वाक्ता इलाके में उनकी गाड़ियां रोकने का आरोप लगाया है।असम राइफल्स के खिलाफ आईपीसी की धारा- 166, 186, 189, 341, 353, 506 और 34 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
असम राइफल्स की छवि खराब करने को कोशिश
इस मामले में असम राइफल्स की ओर से अभी तक कुछ नहीं कहा गया हालांकि, भारतीय सेना का कहना है कि असम राइफल्स की छवि को खराब करने का प्रयास किया जा रहा है। सेना ने कहा कि मणिपुर में जमीन पर काफी जटिल हालात हैं और ऐसी स्थिति में अलग-अलग सुरक्षाबलों के बीच कभी-कभी मतभेद हो सकते हैं। लेकिन ऐसी गलतफहमियों को तुरंत दूर कर लिया जाता है।
असम राइफल्स को हटाने की मांग
वहीं बीजेपी की मणिपुर स्टेट यूनिट द्वारा प्रधानमंत्री को एक ज्ञापन सौंपा गया है। उसमें दस मैतेई पदाधिकारियों द्वारा साइन भी किया गया है। इस ज्ञापन में असम राइफल्स पर पक्षपात करने का आरोप लगाते हुए उन्हें स्थायी रूप से हटाने की मांग की गई है। इसके अतिरिक्ति किसी अन्य अर्धसैनिक बल को तैनात किए जाने के लिए भी कहा गया है।
गौरतलब है कि कुछ हिस्सों में असम राइफल्स को हटाने को लेकर विरोध प्रदर्शन भी किया गया। जिसके बाद विष्णुपुर से असम राइफल्स को हटा लिया गया। 7 अगस्त की शाम को मणिपुर के अतिरिक्त डीजीपी (कानून और व्यवस्था) ने एक आदेश जारी कर लिखा कि विष्णुपुर से कांगवई रोड पर मोइरांग लमखाई एक ऐसा इलाका है जहां तनाव अधिक है। आदेश में आगे लिखा है कि इस इलाके में 9वीं असम राइफल्स के बजाय राज्य पुलिस और सीआरपीएफ को तैनात किया जाएगा। घाटी के जिलों में महिलाओं के कई समूहों द्वारा भी जातीय संघर्षग्रस्त पूर्वोत्तर राज्य से असम राइफल्स को हटाए जाने की मांग की गई थी। जिसके बाद असम राइफल्स की वापसी का फैसला किया गया। महिला समूहों द्वारा सात अगस्त को इम्फाल पश्चिम जिले के होदाम लीराक और क्वाकीथेल और इम्फाल पूर्व के अंगोम लीकाई और खुरई इलाकों में एक सड़क को अवरुद्ध कर दिया गया था ।
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