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देश को मिली पहली वॉटर मेट्रो

भारत की जनता को पहली वॉटर मेट्रो का तोहफा मिला गया है। दरअसल, पीएम नरेंद्र मोदी ने अपने केरल दौरे के दौरान देश की पहली वॉटर मेट्रो का उद्घाटन किया है। जिसके बाद अब लोग वॉटर मेट्रो से सफर कर सकेंगे। वास्तव में वाटर मेट्रो के माध्यम से भारतीय परिवहन व्यवस्था में एक नई क्रांति आने वाली है और यह वाटर मेट्रो न केवल भारत में बल्कि पूरे एशिया में अपनी तरह का सबसे अनूठा जलमार्ग परिवहन होगा।
जानकारी के मुताबिक कोच्चि के मुख्य इलाके को वॉटर मेट्रो के जरिए 10 द्वीपों से जोड़ा जाएगा। इससे लोगों का यात्रा समय बचेगा और पर्यटन की दृष्टि से भी यह महत्वपूर्ण माना जा रहा है। जानकारी के मुताबिक इस प्रोजेक्ट पर कुल 1,137 करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं। वहीं, 1,137 करोड़ रुपए की लागत से तैयार हुए इस प्रोजेक्ट में कुल 78 बोट और 38 टर्मिनल बनाए गए हैं।
इस वॉटर मेट्रो से प्रोजेक्ट केरल की कोच्चि मेट्रो रेल लिमिटेड ने तैयार किया है। इस प्रोजेक्ट के तहत रोजाना 34 हजार लोग वाटर मेट्रो से सफर कर सकेंगे। वहीं, इस वाटर मेट्रो के तहत कुल 16 रूट कवर होंगे और यह कुल 78 किलोमीटर का सफर होगा। फिलहाल इस मेट्रो 38 बोट्स को तैनात किया गया है, जो आधुनिक सुविधाओं से लैस हैं। इनकी सीटें आधुनिक हैं साथ ही इस वॉटर मेट्रो में वाई-फाई की सुविधा भी मिलेगी। इसके अलावा आप वातानुकूलित में यात्रा कर सकेंगे।
वहीं, पर्यावरण के लिहाज से भी यह वाटर मेट्रो प्रोजेक्ट अहम है क्योंकि ये नावें इलेक्ट्रिक होंगी। यह पूरी तरह ईको फ्रेंडली होगा। केरल में इस बोट के जरिए प्रदूषण को कम करने की कोशिश की जाएगी। इनमें सोलर पैनल लगाए गए हैं और बैटरी लगाई गई हैं। इससे कार्बन उत्सर्जन में काफी कमी आएगी। माना जा रहा है कि वॉटर मेट्रो में सफर करने के लिए पर्यटकों की भीड़ देखने को मिलेगी।
ओस वॉटर मेट्रो के किराए की बात करें तो एक ट्रिप का किराया 20 से 40 रुपये रखा गया है। इसके अलावा यात्रियों को साप्ताहिक, मासिक या तीन महीने का पास प्राप्त करने की सुविधा भी मिलेगी। इन पास की कीमत 180 रुपये, 600 रुपये या 1500 रुपये होगी। क्यूआर कोड के जरिए टिकटों की ऑनलाइन खरीद मौके पर ही की जा सकेगी। वहीं, इस मेट्रो की सुविधा रोजाना सुबह 7 बजे शुरू होगी, जो रात 8 बजे तक जारी रहेगी। जबकि पीक आवर्स के दौरान हर 15 मिनट में वाटर मेट्रो उपलब्ध होगी। जहां इलेक्ट्रिक बोट्स का इस्तेमाल होगा। वहीं यह वाटर मेट्रो प्रोजेक्ट पर्यावरण के लिहाज से भी अहम है, क्योंकि ये बोट्स इलेक्ट्रिक होंगी। यह पूरी तरह ईको फ्रेंडली होगा। केरल में इस बोट के जरिए प्रदूषण को कम करने की कोशिश की जाएगी। इनमें सोलर पैनल लगाए गए हैं और बैटरी लगाई गई हैं। इससे कार्बन उत्सर्जन में काफी कमी आएगी। माना जा रहा है कि वॉटर मेट्रो में सफर करने के लिए पर्यटकों की भीड़ देखने को मिलेगी।

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